राउरकेला। सेल, राउरकेला इस्पात संयंत्र के ज्ञानार्जन एवं विकास विभाग द्वारा 9 मई 2025 को “इस्पात प्रौद्योगिकी: आगे की चुनौतियाँ” पर व्यावसायिक वार्ता आयोजित की गई।
इस कार्यक्रम के मुख्य वक्ता आरडीसीआईएस के पूर्व कार्यपालक निदेशक, ए एस माथुर थे, जिन्होंने इस्पात उद्योग के उभरते परिदृश्य के बारे में गहन जानकारी साझा की। मुख्य महाप्रबंधक (एचआर-एलएंडडी), पी के. साहू ने भी इस अवसर पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराई और मंच साझा किया। इस सत्र में संयंत्र के विभिन्न विभागों के अधिकारियों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया I
अपने संबोधन में, माथुर ने स्थिरता और तकनीकी परिवर्तन की ओर बढ़ते हुए इस्पात क्षेत्र के सामने आने वाली चुनौतियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने हाइड्रोजन-आधारित डीआरआई और इलेक्ट्रिक आर्क फर्नेस के माध्यम से हरित इस्पात उत्पादन की ओर वैश्विक बदलाव पर जोर दिया, साथ ही संबंधित बुनियादी ढाँचे और लागत चुनौतियों को भी स्वीकार किया। उन्होंने स्क्रैप उपयोग, सर्कुलर इकोनॉमी अपनाने, कच्चे माल पर निर्भरता और आपूर्ति श्रृंखलाओं को प्रभावित करने वाले भू-राजनीतिक जोखिम जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी बात की। इसके अलावा, श्री माथुर ने भविष्य की मांगों को पूरा करने के लिए कुशल कार्यबल की आवश्यकता के साथ-साथ एआई, आईओटी और स्वचालन के माध्यम से स्टील निर्माण में डिजिटलीकरण के बढ़ते महत्व पर जोर दिया। उच्च शक्ति वाले स्टील विकास, पर्यावरण अनुपालन और बाजार की अधिक क्षमता जैसे विषयों पर भी विस्तार से चर्चा की गई, जिससे उद्योग के लिए आगे की राह का व्यापक दृष्टिकोण सामने आया।
कार्यक्रम का समन्वय वरिष्ठ प्रबंधक (एचआर-एलएंडडी), सुश्री अर्नपूर्णा बेहरा द्वारा किया गया और इसकी प्रासंगिकता और गहराई के लिए सभी उपस्थित लोगों द्वारा इसकी सराहना की गई।

गांव गिराँव हिंदी न्यूज़ पोर्टल पर आप – Latest Breaking News, देश, विदेश, खेल, मनोरंजन, राजनीति, क्राइम, ऑटोमोबाइल, टेक्नोलॉजी, शिक्षा, लाइफस्टाइल, क्रिकेट से सम्बंधित सभी समाचार प्राप्त करते है।