एनटीपीसी की 18वीं लेंडर्स मीट: विकास रोडमैप और हरित ऊर्जा विज़न पर फोकस

थर्मल, जलविद्युत, सौर और पवन ऊर्जा संयंत्रों के विविध पोर्टफोलियों के साथ, एनटीपीसी देश को विश्वसनीय, किफायती और सतत विद्युत आपूर्ति प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध

नई दिल्ली,/ एनटीपीसी ने नई दिल्ली में अपनी 18वीं लेंडर्स मीट का आयोजन किया। इस बैठक में कंपनी के परिचालन एवं वित्तीय प्रदर्शन, ग्रीन इनिशिएटिव, विकास और विविधीकरण योजनाओं, भविष्य की पूंजीगत व्यय योजनाओं तथा फंडिंग आवश्यकताओं पर प्रकाश डाला गया। कार्यक्रम में भारत और विदेश से अग्रणी बैंकों, वित्तीय संस्थानों और क्रेडिट रेटिंग एजेंसियों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। अपने उद्घाटन संबोधन में  गुरदीप सिंह, अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, एनटीपीसी ने ऊर्जा विकास के बदलते परिदृश्य और इस परिवर्तनशील वातावरण में एनटीपीसी के समक्ष उपलब्ध अवसरों पर विचार साझा किए। इसके पश्चात  जयकुमार श्रीनिवासन, निदेशक (वित्त) ने एक विस्तृत प्रस्तुति के माध्यम से एनटीपीसी के एक एकीकृत ऊर्जा समूह के रूप में रूपांतरण को रेखांकित किया। प्रस्तुतियों की एक श्रृंखला के माध्यम से एनटीपीसी और इसकी समूह कंपनियों ने भारत सरकार के विकसित भारत विज़न के अनुरूप सतत विकास के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को प्रदर्शित किया। अग्रणी क्रेडिट रेटिंग एजेंसियों-मूडीज़, एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स, फिच रेटिंग्स और केयरएज ने देश की सॉवरेन रेटिंग, विद्युत क्षेत्र तथा एनटीपीसी की क्रेडिट प्रोफाइल पर अपने विचार साझा किए।

बैठक के दौरान एक इंटरएक्टिव प्रश्नोत्तर सत्र भी आयोजित किया गया, जिसमें एनटीपीसी प्रबंधन ने प्रतिभागियों द्वारा उठाए गए प्रश्नों और टिप्पणियों का उत्तर दिया। इस अवसर पर एनटीपीसी के शीर्ष नेतृत्व की उपस्थिति रही, साथ ही प्रमुख समूह कंपनियों के सीईओ और सीएफओ भी उपस्थित रहे। लेंडर्स मीट ने एनटीपीसी, इसकी समूह कंपनियों, ऋणदाताओं और क्रेडिट रेटिंग एजेंसियों के बीच सार्थक संवाद को बढ़ावा दिया, जिससे भविष्य की विकास योजनाओं के लिए आपसी विश्वास और सहयोग को और मजबूती मिली। वर्तमान में एनटीपीसी 85 गीगावाट की स्थापित क्षमता का संचालन कर रही है, जबकि 32 गीगावाट क्षमता निर्माणाधीन है। कंपनी ने 2032 तक 149 गीगावाट (जिसमें 60 गीगावाट रिन्यूएबल एनर्जी शामिल है) और 2037 तक 244 गीगावाट क्षमता तक पहुँचने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य निर्धारित किया है। इस रोडमैप के तहत लगभग 7 लाख करोड़ रुपये के पूंजीगत व्यय की परिकल्पना की गई है, जिसमें ऊर्जा भंडारण प्रणालियाँ, पंप्ड स्टोरेज परियोजनाएँ, परमाणु ऊर्जा, हरित हाइड्रोजन और रसायन क्षेत्रों में विस्तार शामिल है।

थर्मल, जलविद्युत, सौर और पवन ऊर्जा संयंत्रों के विविध पोर्टफोलियों के साथ, एनटीपीसी देश को विश्वसनीय, किफायती और सतत विद्युत आपूर्ति प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। कंपनी हरित भविष्य की दिशा में सर्वोत्तम प्रथाओं को अपनाने, नवाचार को बढ़ावा देने और स्वच्छ ऊर्जा प्रौद्योगिकियों को अपनाने के लिए निरंतर प्रयासरत है।

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