सरस्वती विद्या मन्दिर में विद्वत् परिषद् की बैठक सम्पन्न

प्रयागराज। [मनोज पांडेय ]सरस्वती विद्या मन्दिर इण्टर कालेज, सर्वोदय नगर, अल्लापुर, प्रयागराज में विद्वत् परिषद् की बैठक सम्पन्न हुई। कार्यक्रम की अध्यक्षता बी एल ओझा अ प्रा अधिकारी सी डी ए पेन्शन ने की। विद्या मन्दिर के संस्कारिक , उत्तम शैक्षणिक व्यवस्था एवं अनुशासित प्रांगण के लिये प्रशंसा करते हुये शिव मणि त्रिपाठी अ प्रा अभियन्ता लोक निर्माण ने अपने विशिष्ट उद्बोधन में सदा सहयोग करते रहने की अभिलाषा व्यक्त की। दुर्गेश दुबे अपर शासकीय अधिवक्ता ने विद्यालय में भैया-बहन के सर्वांगीण विकास हेतु कार्य योजना तैयार करने पर बल दिया। पी एन बी के उपशाखा प्रबन्धक एस पी शर्मा ने अधिक धन उगाही कर बच्चों को झूठी शिक्षा में उलझाने का कार्य करने वाली संस्थाओं से सचेत रहने का आग्रह किया। कुंवर जीतेन्द्र बहादुर सिंह अधिवक्ता ने विद्या मंदिर की उत्तम, नैतिक, संस्कारिक, एवं उज्ज्वल भविष्य के सशक्त सोपानों से जोड़ने में सहायक संस्था के प्रति आभार व्यक्त किया। माता प्रसाद मिश्र अ प्रा अभियन्ता केन्द्रीय लोक निर्माण विभाग ने परिस्थिति अनुकूल शिक्षा पर बल दिया जिससे भैया-बहनों का उदीयमान भविष्य निर्माण में सहयोगी रहे। बृजेश भदौरिया ने पत्राचार शिक्षा के अपने अनुभव साझा किये। अनिल कुमार मावलीय, समाजसेवी ने भी आंग्ल भाषा को साथ लेकर शिक्षा प्रणाली को सशक्त करने की बातकही। कमलेश दुबे अधिवक्ता ने परिषद का ध्यान छात्र-छात्राओ पर ही केवल न होकर शिक्षक पर नीतिगत कार्य करते रहने का निवेदन किया। कार्य-समय के बेहतरीन प्रबन्धन की ओर भी ध्यान आकर्षित कराया। तमन्ना पैरामेडिकल इन्सटीट्यूट से पधारे डाॅ पंकज चौबे ( नेत्र विशेषज्ञ ) ने विद्या भारती के मानवमूल्य निहित गुणवत्तायुक्त शैक्षिक सदाचार पर प्रकाश डाला एवं आगे परिसर में भैया-बहन एवं आचार्य-आचार्य दीदी के स्वास्थ्य परीक्षण हेतु प्राचार्य से अनुमति लेकर समय-समय पर शिविर आयोजित करने का आग्रह किया। एरलिन हेल्थ केयर के फाउंडर रत्नेश श्रीवास्तव ने भी बच्चों के नियमित स्वास्थ्य परीक्षण की बात निवेदित की और कहा कि स्वस्थ शरीर ही स्वस्थ मस्तिष्क की चेतना है। प्रमुख व्यवसायी राॅबिन्स केशरवानी ने भी विद्यालय को हर सम्भव सहयोग प्रदान करने का वादा किया। अनुज पाण्डेय ने अभिभावक और शिक्षक के परस्पर जुड़ाव पर बल दिया और उद्देश्य परक शिक्षा की बात कही। रत्नेश तिवारी अधिवक्ता ने विद्वत परिषद की बैठक की आवश्यकता और शैक्षिक वातावरण में उच्च गुणवत्ता की आवश्यकता पर बल दिया। राम मूर्ति ने भी शिक्षक एवं पारिवारिक आचरण और माहौल का बच्चों पर पड़ने वाले प्रभाव पर प्रकाश डाला। प्रेम बहादुर सिंह ने भी बच्चों को तकनीकि शिक्षा के बेसिक पाठ्यक्रम की आवश्यकता पर प्रकाश डाला। दिलीप पाण्डेय ने भी शिक्षा के क्रम में सुधार पर प्रकाश डाला। बैठक के प्रारम्भ में अतिथियों को बहनों ने चन्दन लगाकर एवं बैच अलंकरण कर अभिनन्दन किया। प्रधानाचार्य एवं अभ्यागत अतिथियों ने दीप प्रज्वलन एवं पुष्पार्चन किया। प्रारम्भ में प्रधानाचार्य ने विद्वत परिषद के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला एवं अभ्यागत अतिथिगण का वाचन अभिनन्दन किया । विद्वत परिषद की बैठक का आयोजन भारतीय सांस्कृतिक परिषद के महानगर अध्यक्ष सतीश कुमार गुप्त ने किया एवं कुशल संचालन भी सतीश कुमार गुप्त द्वारा किया गया। भैया-बहनों को उत्तम शैक्षणिक पठन-पाठन, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, अनुशासित सदाचार, नवाचार से सुसज्जित कार्यशाला, उच्च शिक्षा हेतु पाठ्य सामग्री की आवश्यकता पर सभी विशिष्ट आयामों के साथ बैठक में गम्भीरतापूर्वक चर्चा की गयी। बैठक में आदित्य गुप्त, शैलेन्द्र कुमार मिश्र, महेन्द्र पाण्डेय, दिलीप पाण्डेय आदि अतिथि भी उपस्थित रहे। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम पर्यटन स्थल पर पर्यटकों के जघन्य अमानवीय नरसंहार की सभी ने भर्त्सना की और पूरे विद्यालय परिवार ने मौन रखकर दिवंगत आत्माओं को भावपूर्ण विनम्र श्रद्धाँजलि अर्पित की। प्रधानाचार्य सुरेश चन्द्र तिवारी ने अभ्यागत अतिथिगण का हार्दिक आभार व्यक्त किया।

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