विलासपुर।कोल इंडिया लिमिटेड की एक प्रमुख सहायक कंपनी साउथ ईस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एसईसीएल) विशेष अभियान 4.0 के तहत महत्वपूर्ण प्रगति कर रही है जिससे कार्यालयों में स्वच्छता, अपशिष्ट प्रबंधन और बेहतर प्रशासन को बढ़ावा मिल रहा है।
100 से अधिक साइटों की सफाई: एसईसीएल ने खनन स्थलों, प्रशासनिक भवनों और सार्वजनिक स्थानों सहित अपने परिचालन क्षेत्रों में 100 से अधिक साइटों की सफलतापूर्वक सफाई की है, जिससे कार्यस्थलों की सुंदरता और सुरक्षा में उल्लेखनीय सुधार हुआ है।
1400+ टन स्क्रैप का निपटान: 1400 मीट्रिक टन से अधिक स्क्रैप के निपटान से ₹7 करोड़ से अधिक का अतिरिक्त राजस्व प्राप्त हुआ है, जिससे भविष्य में उपयोग के लिए जगह खाली हुई है। कंपनी का लक्ष्य अभियान के अंत से पहले 2200 मीट्रिक टन स्क्रैप के निपटान के अपने लक्ष्य को प्राप्त करना है।
डिजिटल गवर्नेंस को बढ़ावा: SECL भूमि अधिग्रहण प्रबंधन प्रणाली (LAMS), CSR के लिए इन-हाउस वेब ऐप, मेडिकल रेफरल आदि, ई-ऑफिस, SAP और ERP जैसे विभिन्न डिजिटल समाधानों को अपनाकर डिजिटल गवर्नेंस को सक्रिय रूप से बढ़ावा दे रहा है ताकि कुशल संचालन और कागज पर निर्भरता कम हो सके।
अमृत फार्मेसी विस्तार: SECL ने खाली जगहों को, जो पहले स्क्रैप भंडारण के लिए उपयोग की जाती थीं सदुपयोग को बढ़ावा देते हुए उन्हें अमृत फार्मेसी में बदल दिया है, जिससे कर्मचारियों और स्थानीय समुदायों को सस्ती स्वास्थ्य सेवा प्रदान की जा रही है।
पर्यावरण प्रतिबद्धता: “एक पेड़ माँ के नाम” पहल के तहत, SECL ने छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में 1.46 लाख से अधिक पौधे लगाए हैं। यह पौधारोपण अभियान हरियाली बढ़ाने और पर्यावरणीय स्थिरता सुनिश्चित करने के व्यापक प्रयास का हिस्सा है।
कबाड़ से कलाकृति: पिछले साल की “कबाड़ से कलाकृति” पहल की सफलता के बाद, SECL एक बार फिर कबाड़ सामग्री को कलात्मक मूर्तियों में बदल रहा है, जो अपशिष्ट प्रबंधन में नवाचार का प्रदर्शन करता है।
SECL लंबित शिकायतों के निपटारे और पुरानी फाइलों की समीक्षा को प्राथमिकता देना जारी रखता है, जिसमें जनता की शिकायतों और सुझावों पर विशेष ध्यान दिया जाता है। 30 दिनों से अधिक समय तक कोई भी शिकायत लंबित न होने के कारण, कंपनी ने अपनी शिकायत समाधान प्रक्रिया को सुव्यवस्थित किया है, जिससे त्वरित निवारण सुनिश्चित हुआ है।
यह अभियान 31 अक्टूबर, 2024 तक चलेगा, जिसमें पूर्ण लक्ष्य प्राप्ति पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा, जो एक स्वच्छ, अधिक कुशल कार्यस्थल के सरकार के दृष्टिकोण में और योगदान देगा।
उल्लेखनीय है कि अभियान “स्वच्छता ही सेवा” के प्रथम चरण के दौरान, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में अपने परिचालन क्षेत्रों में एसईसीएल के सफाई प्रयासों से 90 मीट्रिक टन से अधिक कचरे का निपटान करने में मदद मिली। इस अभियान में स्कूली बच्चों के लिए प्रतियोगिताएं, स्वच्छता रैलियां, वृक्षारोपण, मानव श्रृंखला और सफाई मित्र कल्याण पहल जैसे स्वास्थ्य शिविर और सफाई मित्र सम्मान जैसी विभिन्न जागरूकता पहल भी शामिल थीं।