चन्दौली/ स्ट्राबेरी एवं ड्रैगन फूट की खेती को बढ़ावा देने हेतु कृषकों का प्रशिक्षण कार्यक्रम कृषि विज्ञान केन्द्र परिसर में आयोजित किया गया।
कार्यक्रम के दौरान जिलाधिकारी श्रीमती ईशा दुहन ने प्रशिक्षण मे प्रतिभाग करने वाले कृषकों से स्ट्राबेरी एवं ड्रैगन फूट की खेती को जनपद में बढ़ावा देने हेतु आवाह्न किया। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम आयोजन का मुख्य उद्देश्य है कि जनपद के किसान बंधुओं को पारम्परिक खेती के अलावा छोटे-छोटे जगहों पर स्ट्राबेरी एवं ड्रैगन फूट की खेती की जानकारी दिलाकर उनके आय में बढ़ोतरी कर सकें। जिलाधिकारी ने उपस्थित कृषकों से कहा कि पूरी तरह प्रशिक्षित होकर अपने घर को जाएं और अपने खेतों व घरों के आस-पास के कम जगहों में भी इसका उपयोग करें। ड्रैगन फ्रूट व स्ट्रॉबेरी कम लागत में अधिक मुनाफे वाली खेती है। जिलाधिकारी ने जिला उद्यान अधिकारी को निर्देशित किया कि जनपद के अन्य क्षेत्रों में भी लोगों को ड्रैगनफ्रुट, स्ट्राबेरी की खेती करने के लिए प्रेरित किया जाये और इससे होने वाले लाभ के सम्बन्ध में जानकारी दी जाये।
कार्यक्रम के दौरान कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिकों द्वारा कृषको को प्रशिक्षण के दौरान पूरी विस्तार से जानकारी व उससे लाभ के बारे में बताया गया। इस दौरान जनपद के प्रगतिशील कृषक धन्नजय कुशवाहा व अनिल मौर्या द्वारा ड्रैगन फूट एवं स्ट्राबेरी की खेती की तकनीकी जानकारी कृषकों को प्रदान की गयी साथ ही कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिक, एवं अन्य वैज्ञानिक गण के द्वारा कृषकों को खाद्य प्रसंस्करण से सम्बन्धित उद्योग यथा बेकरी उद्योग, दालमिल उद्योग, मशरूम उत्पादन, पलोर मिल (आटा चक्की), नमकीन उद्योग, मिठाई उद्योग, सब्जी आधारित उत्पाद रेडी टू कुक (मैगी नूडल्स, पास्ता, ढोकला स्वीटकार्न, ओट्स, दलिया, सूजी आदि) बेकरी उद्योग, दूध उत्पाद से सम्बन्धित उद्योग, हर्बल उत्पाद, आयल सीड आधारित उत्पाद आदि की खेती पर तकनीकी प्रशिक्षण प्रदान किया गया। कार्यक्रम के दौरान मुख्य विकास अधिकारी अजितेंद्र नारायण, जिला उद्यान अधिकारी, प्रगतिशील कृषक धन्नजय कुशवाहा, अनिल मौर्या सहित अन्य कृषकगण उपस्थित रहे।